निःसंतान दंपतियों को वरदान साबित हो रही है ए आर टी

मनोज नौडियाल
रूद्रपुर। रूद्रपुर।स्थित एक निजी रेस्टोरेंट में डॉ. रेनू शरण ने गाइनेकोलॉजिस्ट महिला डॉक्टरों के साथ बैठक में कहा कि प्रदेश में ए आर टी अधिनियम 2021 एंव सेरोगेसी एक्ट 2021 के सुखद परिणाम देखने को मिल रहे है।दोनों एक्ट के लागू होने के बाद राज्य में 1938 दंपतियों ने सहायक प्रजनन प्रोधोगिकी (ए आर टी) का लाभ उठाया है राज्य में संतान सुख पाने में असमर्थ विवाहित दंपति एंव महिलाओं की कुछ श्रेणियों (एकल और विवाहित) के लिए ए आर टी वरदान साबित हो रही है। वर्ष 2021में देश के साथ साथ प्रदेश में 22 ए आर टी क्लीनिक पंजीकृत है।हाल ही में केन्द्र सरकार ने राज्यों और केन्द्रशासित राज्यों से उन दंपतियों और एकल एंव अविवाहित महिलाओं का आंकड़ा मांगा था जिन्होंने सेरोगेसी व एआरटी का सफलता पूर्वक लाभ उठाया है।ताकि सरकार कानून लागू होने के बाद की स्थिति का सही आंकलन कर सके। जिस पर स्वास्थ्य विभाग ने विगत दो वर्षों के आंकड़े केंद्र सरकार को भेज दिए हैं।बताया गया कि राज्य में 1938 दंपतियों ने इस सुविधा का लाभ उठा है।स्वास्थ्य मंत्री डॉ.धनसिंह रावत का कहना कि राज्य में सेरोगेसी एक्ट 2021 एंव एआरटी एक्ट 2021 के ठोस क्रियान्वयन का नतीजा है कि प्रदेश में पंजीकृत क्लीनिकों के माध्यम से अब तक 1938 दंपतियों ने एआरटी का लाभ उठाया है।इन एक्ट के तहत केवल संतान सुख पाने में असमर्थ विवाहित दंपति और महिलाओं की कुछ श्रेणियों को ही एआरटी और सेरोगेसी का लाभ उठाने की अनुमति है।

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