लैंसडाउन से विधायक महंत दलीप रावत ने वन विभाग में हुई कारवाई पर सवाल उठाते हुए सीएम पुष्कर सिंह धामी को पत्र लिखा है पत्र में कहा गया है है कि उत्तराखण्ड में फैली भीषण आग को नियंत्रित ना करने के संबंध में कुछ निचले कर्मचारियों को लापरवाही बरतने में निलंबित किया गया।
मेरी व्यक्तिगत राय है कि निचले कर्मचारियों का निलंबन करने से पहले यह ध्यान देना जरूरी है कि क्या अग्नि सुरक्षा हेतु निचले स्तर पर पूरे कर्मचारी नियुक्त है? क्या निचले स्तर पर अग्नि बुझाने हेतु पूरे संसाधन उपल्बध हैं? धरातल पर मुझे यह भी अनुभव हुआ है कि फायर सीजन में रखे जाने वाले फायर वाचरों की संख्या पर्याप्त नहीं है। यदि होती भी है तो वह कागजों तक ही सीमित रहती है। निचले स्तरों पर फायर वाचरों हेतु उनकी सुरक्षा हेतु उचित संसाधन नहीं रहते है, और ना ही जंगलों में आग बुझाने के दौरान घटना स्थान पर उनके लिए भोजन आदि की उचित व्यवस्था रहती है।दिलीप सिंह रावत ने कहा है कि उनके संज्ञान में यह आया है कि वन अधिकारी, प्रभारी क्षेत्र वन अधिकारी केवल चौकियों तक ही निरीक्षण कर रहे हैं. धरातल पर कोई नहीं जा रहा।महंत दिलीप सिंह रावत ने कहा है कि छोटे कर्मचारियों पर कार्रवाई करने के बजाय अपने कक्ष में बैठकर काम कर रहे बड़े अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई अगर होती तो अधिकारी बेहतर तरीके से काम करते।