मनोज नौडियाल
कोटद्वार।संस्कृत विभागीय परिषद के गठनोपरांत,संस्कृत विभाग तथा IQAC के तत्वावधान में डॉ पीतांबर दत्त बड़थ्वाल हिमालयन राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय कोटद्वार में संस्कृत लघु प्रश्नोत्तरी तथा निबन्ध प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसमें छात्र-छात्राओं ने बढ़-चढ़कर प्रतिभाग किया ।संस्कृत लघु प्रश्नोत्तरी में छात्र-छात्राओं ने समस्त लघु प्रश्नों का उत्तर देकर अपने ज्ञान कौशल का परिचय दिया ।समस्त प्रश्न विषय आधारित थे , जिनकी समय अवधि 30 मिनट थी । इसी क्रम में निबन्ध प्रतियोगिता जिसका शीर्षक “संस्कृतस्य सुप्रसिद्धकवय: ” है ,में छात्र छात्राओं ने संस्कृत भाषा में कालिदास, भारवि, माघ, आदि कवियों पर मौलिक निबन्ध लिखे । छात्र छात्राओं ने इस प्रतियोगिता के माध्यम से अपने विषय से सम्बंधित मूलभूत तत्वों को प्रस्तुत किया । कार्यक्रम का शुभारम्भ करते हुए महाविद्यालय की प्राचार्य प्रो. जानकी पंवार ने अपने वक्तव्य में समस्त प्रतिभागियों को “जयतु संस्कृतं जयतु भारतं” तथा संस्कृत समस्त भाषाओ का मूलाधार है ,कहकर अपनी अमृतमयी वाणी से उत्साहवर्धन किया और कहा कि वर्तमान और भविष्य में संस्कृत भाषा में रोजगार की अनेकानेक सम्भावनाये हैं, और साथ ही सभी प्रतिभागियों को मंगलकामनायें प्रेषित की l
संस्कृत विभाग प्रभारी डॉ. अरुणिमा ने अपने वक्तव्य में छात्र छात्राओं को निरंतर पठन पाठन के साथ ऐसी विभिन्न गतिविधियों में प्रतिभाग करने हेतु प्रेरित किया ,साथ ही विषय सम्बंधित प्रसिद्ध कवि कालिदास ,दंडी आदि के विषय में मुख्य बिन्दुओ से अवगत कराया । इस अवसर पर डॉ. प्रियम अग्रवाल ने छात्र छात्राओं को ऐसी प्रतियोगिताओं में प्रतिभाग करने हेतु उत्साहित करते हुये निरंतर नवीन कार्य हेतु प्रेरित किया और कहा कि प्रतियोगिता में प्रतिभाग करना ही छात्र छात्राओं के लिए बड़ा कार्य है।
संस्कृत लघु प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता में प्रथम स्थान पर नाजमीन एम.ए. चतुर्थ सेम. , द्वितीय स्थान पर उज्मा बी.ए.चतुर्थ सेम. , तथा तृतीय स्थान पर हिमानी बिष्ट बी,ए.द्वितीय सेम.,रही । इसी क्रम में निबन्ध प्रतियोगिता में प्रथम स्थान पर उज्मा बी.ए.चतुर्थ सेम. , द्वितीय स्थान पर हिमानी बिष्ट बी,ए.द्वितीय सेम., तृतीय स्थान पर नाजमीन एम.ए. चतुर्थ सेम , तथा सुहानी बी ए द्वितीय सेम सांत्वना स्थान पर रही । अंत में सभी प्रतिभागियों को डॉ अरुणिमा और डॉ. प्रियम अग्रवाल ने शुभकामनाए दी ।